भूमि अधिग्रहण में देरी से 2023-24 में लिग्नाइट उत्पादन का लक्ष्य हासिल नहीं कर पाई एनएलसी इंडिया

Ankit
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नयी दिल्ली, 12 मार्च (भाषा) संसद की एक समिति ने कहा कि भूमि अधिग्रहण में देरी के कारण सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी एनएलसी इंडिया वित्त वर्ष 2023-24 के लिए अपने लिग्नाइट उत्पादन लक्ष्य को पूरा नहीं कर सकी।


कोयला, खान और इस्पात पर संसद की स्थायी समिति ने बुधवार को संसद में पेश अपनी रिपोर्ट में कहा कि कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) सहित तीन कोयला उत्पादक कंपनियां वर्ष 2023-24 के लिए लक्षित उत्पादन को पूरा करने में सक्षम हैं।

इसमें कहा गया है कि 86.2 करोड़ टन के संचयी कोयला उत्पादन लक्ष्य के मुकाबले, तीनों सार्वजनिक उपक्रमों के संयुक्त प्रयासों से 85 करोड़ 64.7 लाख टन का वास्तविक कोयला उत्पादन हुआ है।

इसमें कहा गया, ‘‘हालांकि, भूमि अधिग्रहण में देरी के कारण एनएलसीआईएल अपने लिग्नाइट लक्ष्य (83.36 प्रतिशत) को पूरा नहीं कर सकी।’’

उत्पादकता के मामले में, कोयला खनन में सीआईएल सबसे कुशल है, जो आधुनिक तकनीक के उपयोग के कारण संभव है।

समिति का मानना ​​है कि यद्यपि ऊर्जा सुरक्षा के व्यापक राष्ट्रीय उद्देश्य को पूरा करने में तीन कोयला पीएसयू द्वारा किए गए प्रयास सराहनीय हैं, लेकिन एनएलसीआईएल और एससीसीएल के बेहतर प्रदर्शन के रास्ते में आने वाली बाधाओं को जल्द से जल्द दूर किया जाना चाहिए।

वर्ष 2023-24 के लिए 2.65 करोड़ टन के उत्पादन लक्ष्य के मुकाबले, एनएलसी इंडिया ने दो करोड़ 36.8 लाख टन लिग्नाइट का उत्पादन किया।

भाषा राजेश राजेश अजय

अजय



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