जनप्रतिनिधियों को स्वार्थ से ऊपर उठकर जनकल्याण के लिए प्रतिबद्ध होना चाहिए: योगी |

Ankit
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लखनऊ, 10 मार्च (भाषा) उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को इस बात पर जोर दिया कि एक जनप्रतिनिधि को व्यक्तिगत स्वार्थ से ऊपर उठकर जनकल्‍याण के लिए गहराई से प्रतिबद्ध होना चाहिए।


राजधानी लखनऊ के सरोजनीनगर में आयोजित आभार दिवस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने निस्वार्थ जनसेवा के महत्व पर जोर देते हुए कहा, ”एक संवेदनशील और समर्पित जनप्रतिनिधि बहुत कुछ हासिल कर सकता है। हालांकि, वास्तविक बदलाव लाने के लिए, उसे व्यक्तिगत लाभ से ऊपर उठकर जनकल्याण के लिए खुद को समर्पित करना होगा।”

योगी ने कहा, ‘वर्तमान में हमारी सरकार पूरे उत्तर प्रदेश में 15 करोड़ लोगों को मुफ्त राशन उपलब्ध करा रही है। निराश्रित महिलाओं, बुजुर्गों और दिव्यांग व्यक्तियों सहित 1.04 करोड़ से अधिक गरीब व्यक्तियों को 12,000 रुपये की वार्षिक पेंशन मिल रही है। इसके अलावा, राज्य के 2.5 करोड़ किसान पीएम किसान सम्मान निधि योजना से लाभान्वित हो रहे हैं।’

उन्होंने आगे कहा कि 56 लाख गरीब परिवारों को घर उपलब्ध कराए गए हैं और नवीनतम बजट में सरकार ने हर वंचित नागरिक के लिए आवास, स्वास्थ्य कार्ड, पेंशन और रोजगार सुनिश्चित करके अगले दो वर्षों के भीतर गरीबी को पूरी तरह से खत्म करने का संकल्प लिया है।

सरोजनीनगर विधानसभा क्षेत्र में संवाद एवं विकास प्रदर्शनी में बोलते हुए योगी ने स्थानीय भाजपा विधायक राजेश्वर सिंह की सराहना की। उन्होंने कहा, ‘यह वास्तव में लोकतंत्र की खूबसूरती है, जब एक निर्वाचित प्रतिनिधि जमीनी स्तर पर इतनी ईमानदारी और प्रतिबद्धता के साथ काम करता है। इससे लोकतंत्र मजबूत होता है।’

सरोजिनीनगर में विकास की चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, ‘यहां 32,000 करोड़ रुपये की परियोजनाएं स्वीकृत की गई हैं, जिससे हजारों लोगों को लाभ मिला है। 1,200 करोड़ रुपये की लागत से एक कन्वेंशन सेंटर भी बनाया जा रहा है, जिसमें एक बार में 10,000 लोग बैठ सकेंगे। सरोजिनीनगर में रक्षा गलियारा भी बन रहा है। उत्तर प्रदेश के पहले फोरेंसिक संस्थान का भी निर्माण किया जा रहा है, जो आपराधिक जांच में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।’

योगी ने प्रयागराज में हाल ही में संपन्न महाकुंभ मेले का भी जिक्र किया, जिसमें रिकॉर्ड 66.3 करोड़ श्रद्धालुओं ने त्रिवेणी संगम में डुबकी लगाई थी, जो विविधता में एकता का उदाहरण है।

उन्होंने कहा, ‘यह समागम जाति, रंग, भाषा और राष्ट्रीयता के भेदों से ऊपर उठकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ के सपने को मजबूत करता है।’

जनप्रतिनिधियों से प्रतिबद्धता के साथ काम करने का आग्रह करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, ‘यदि कोई प्रतिनिधि समर्पित है, तो कोई भी समस्या अनसुलझी नहीं रहेगी। एक मजबूत लोकतंत्र यह सुनिश्चित करता है कि हर नागरिक की आवाज सुनी जाए और न्याय मिले।’

योगी ने प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में समग्र विकास के लिए सरकार की प्रतिबद्धता दोहराते हुए कहा, ‘महाकुंभ हमें एकता का संदेश देता है। एकता के माध्यम से ही भारत अविभाज्य और सुरक्षित रहेगा, जिससे सभी के लिए समृद्धि एवं विकास सुनिश्चित होगा। एकजुट भारत एक विश्व शक्ति के रूप में उभरेगा, जो दुनिया को प्रगति की ओर ले जाएगा।’

भाषा

किशोर आनन्द पारुल

पारुल



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