दिल्ली उच्च न्यायालय ने आईओए के फैसले को खारिज किया |

Ankit
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नयी दिल्ली, छह फरवरी (भाषा) दिल्ली उच्च न्यायालय ने बृहस्पतिवार को राष्ट्रीय खेलों में ताइक्वांडो के प्रतियोगिता निदेशक (डीओसी) को हटाने के फैसले को खारिज करते हुए कहा कि उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों में ‘कोई ठोस सबूत नहीं है’।


सोमवार को राष्ट्रीय खेलों की तकनीकी आचरण समिति (जीटीसीसी) ने डीओसी टी प्रवीण कुमार को कुछ अधिकारियों के साथ हटा दिया था जिन पर प्रतियोगिता शुरू होने से बहुत पहले 16 भार वर्गों में से 10 में परिणाम फिक्स करने के लिए रिश्वत मांगने का आरोप था। उनकी जगह एस दिनेश कुमार को डीओसी बनाया गया।

उच्च न्यायालय ने फैसला सुनाया कि ‘‘डीओसी को बदलने का कोई कारण नहीं बताया गया है जो तकनीकी अधिकारियों में से एक नहीं है और मुकाबलों को तय करने में उनकी कोई भूमिका नहीं है। ‘‘

न्यायमूर्ति सचिन दत्ता द्वारा पारित आदेश में कहा गया है, ‘‘इनमें से किसी भी शिकायत के साथ कोई ठोस सामग्री नहीं है और इनमें केवल आरोप हैं। यह उल्लेखनीय है कि 31 जनवरी 2025 की शिकायत में 2012 तक की अवधि के कुछ आरोपों का उल्लेख है। ’’

प्रतियोगिता में हेराफेरी की तीन सदस्यीय रोकथाम समिति (पीएमसीसी) की मजबूत सिफारिशों के बाद 31 जनवरी को कुमार को हटाया गया। जीटीसीसी की अध्यक्ष सुनैना कुमारी ने कहा कि पीएमसीसी की सिफारिशों को स्वीकार कर लिया गया है।

भाषा नमिता सुधीर

सुधीर



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