शिवसेना (यूबीटी) के उम्मीदवार |

Ankit
3 Min Read


ठाणे, एक नवंबर (भाषा) महाराष्ट्र में कोपरी-पाचपाखाडी विधानसभा सीट से शिवसेना-उद्धव बालासाहेब ठाकरे (यूबीटी) उम्मीदवार केदार दिघे ने शुक्रवार को विश्वास जताया कि वह चुनाव में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को हराकर बड़ा उलट-फेर कर सकते हैं।


केदार इस क्षेत्र के अत्यंत लोकप्रिय नेता दिवंगत आनंद दिघे के रिश्तेदार हैं और उन्हें शिंदे का गुरु भी माना जाता है।

केदार दिघे ने कहा कि उनके पास आनंद दिघे और शिवसेना के संस्थापक दिवंगत बाल ठाकरे का आशीर्वाद प्राप्त है।

केदार दिघे ने ‘पीटीआई-भाषा’ से दिए साक्षात्कार में दावा किया कि विकास को लेकर शिंदे के दृष्टिकोण में त्रुटि है क्योंकि वह सभी हितधारकों को विश्वास में नहीं लेते हैं।

दिघे ने कहा, ‘‘मैं अपने चुनावी पदार्पण को किसी चुनौती के रूप में नहीं देखता। मैं यहां जीतने के लिए आया हूं तथा लोगों का भरोसा मुझे जीतने में मदद करेगा। यह जनता ही तय करती है कि कौन सांसद या विधायक बनेगा और उनका प्रतिनिधित्व कौन करेगा।’’

उन्होंने कहा, ‘‘विकास के बारे में मुख्यमंत्री का नजरिया दोषपूर्ण है। हितधारकों के साथ उनका कोई संवाद नहीं है। वागले एस्टेट एमआईडीसी बंद हो गया है और वहां कॉर्पोरेट कार्यालय खुल गए हैं। युवा बेरोजगारी से जूझ रहे हैं। प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए कोई आईएएस, आईपीएस प्रशिक्षण अकादमी नहीं है। सड़कें एवं पुल बनाए जाते हैं और फिर करदाताओं के पैसे का इस्तेमाल गड्ढों को भरने के लिए किया जाता है।’’

दिघे ने ठाणे की समस्याओं का जिक्र करते हुए कहा कि झुग्गीवासियों की समस्याएं पिछले 20 साल से सुनी नहीं गईं और शहर में कचरा संग्रहण का संकट है।

उन्होंने कहा, ‘‘स्मार्ट सिटी परियोजना के लिए 2,000 करोड़ रुपये की राशि प्राप्त हुई, लेकिन क्या ठाणे एक स्मार्ट सिटी है? अनधिकृत निर्माण बड़े पैमाने पर हो रहा है। शहरी नियोजन का अभाव है।…’’

दिघे ने दावा किया कि मुख्यमंत्री शिंदे के नेतृत्व वाली सरकार किसानों की आत्महत्या की घटनाओं से निपटने और महिलाओं के खिलाफ अत्याचारों को रोकने में विफल रही है।

कोपरी-पाचपाखाडी निर्वाचन क्षेत्र 2009 में अस्तित्व में आया और तब से शिंदे इसके विधायक हैं। उन्होंने 2019 के चुनावों में 89,300 मतों के बड़े अंतर से जीत हासिल की।

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव 20 नवंबर को होंगे जबकि नतीजे 23 नवंबर को घोषित किए जाएंगे।

भाषा सिम्मी माधव

माधव



Share This Article
Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *