प्रधानमंत्री मोदी ने अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन से मुलाकात की, एजेंडे में रूस-यूक्रेन संघर्ष शामिल

Ankit
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(तस्वीरों के साथ)


विलमिंगटन (अमेरिका), 21 सितंबर (भाषा) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को यहां क्वाड शिखर सम्मेलन से इतर अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन से मुलाकात की और दोनों नेताओं के बीच रूस-यूक्रेन संघर्ष सहित कई मुद्दों पर चर्चा होने की उम्मीद है।

प्रधानमंत्री कार्यालय ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, “एक महत्वपूर्ण यात्रा की विशेष शुरुआत। राष्ट्रपति जो बाइडन ने ग्रीनविले, डेलावेयर में अपने आवास पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया।”

डेलावेयर के विलमिंगटन में स्थित बाइडन के आवास पर बैठक के दौरान, दोनों नेता भारत-अमेरिका व्यापक वैश्विक रणनीतिक साझेदारी को और गहरा करने के लिए नए तरीकों की समीक्षा और पहचान करेंगे।

बाइडन ने अपने आवास पर मोदी का स्वागत किया और दोनों नेता एक दूसरे से गले मिले। इसके बाद बाइडन मोदी का हाथ पकड़कर उन्हें अपने घर के अंदर लेकर गए।

इधर, विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, “एक अहम यात्रा की गर्मजोशी से और खास शुरुआत। एक विशेष भाव के तहत जो बाइडन ने अपने आवास पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की मेजबानी की। द्विपक्षीय बैठक से पहले ग्रीनविले, डेलावेयर में जो बाइडन ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया।”

अमेरिकी राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवन के अनुसार, द्विपक्षीय बैठक में युद्ध और मोदी की हालिया यूक्रेन यात्रा पर प्रमुखता से चर्चा होने की उम्मीद है।

मोदी ने अमेरिका के लिये रवाना होने से पहले दिल्ली में अपने वक्तव्य में कहा था, “राष्ट्रपति बाइडन के साथ मेरी बैठक हमें अपने लोगों के लाभ और वैश्विक भलाई के लिए भारत-अमेरिका व्यापक वैश्विक रणनीतिक साझेदारी को और गहरा करने के लिए, नए तरीकों की समीक्षा करने और उनकी पहचान करने का मौका देगी।”

मोदी के साथ विदेश मंत्री एस जयशंकर, विदेश सचिव विक्रम मिस्री और अमेरिका में भारत के राजदूत विनय मोहन क्वात्रा भी मौजूद हैं। अमेरिकी दल में विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन, राष्ट्रीय सुरक्षा मामलों के लिए राष्ट्रपति के सहायक टी एच जेक सुलिवन और भारत में अमेरिका के राजदूत एरिक गार्सेटी शामिल हैं।

अमेरिका की तीन दिवसीय यात्रा पर यहां आए मोदी ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज और जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा के साथ अलग-अलग द्विपक्षीय बैठकें भी करेंगे। दोनों नेता क्वाड शिखर सम्मेलन के शिरकत करने के लिए यहां आए हैं।

राष्ट्रपति बाइडन अपने गृहनगर विलमिंगटन में वार्षिक क्वाड शिखर सम्मेलन की मेजबानी कर रहे हैं। उम्मीद है कि इस बैठक में हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सहयोग को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न नयी पहल की शुरूआत की जाएगी। इसके अलावा यूक्रेन और गाजा में संघर्षों का शांतिपूर्ण समाधान खोजने के तरीके तलाशे जाएंगे।

चार सदस्यीय क्वाड एक स्वतंत्र, खुले और समावेशी हिंद-प्रशांत क्षेत्र को बनाए रखने की वकालत करता है। चीन इसे विरोधी समूह के रूप में देखता है।

दिल्ली से अमेरिका रवाना होने के समय मोदी ने कहा कि वह क्वाड शिखर सम्मेलन के लिए अपने सहयोगियों राष्ट्रपति जो बाइडन, प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज और प्रधानमंत्री फूमियो किशिदा के साथ शामिल होने के लिए उत्सुक हैं।

उन्होंने कहा, “यह मंच हिंद-प्रशांत क्षेत्र में शांति, प्रगति और समृद्धि के लिए काम करने वाले समान विचारधारा वाले देशों के एक प्रमुख समूह के रूप में उभरा है।”

इससे पहले, भारतीय प्रवासियों के एक बड़े समूह ने फिलाडेल्फिया अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर मोदी का स्वागत किया।

मोदी ने पारंपरिक परिधान पहने लोगों के समूह का अभिवादन किया, जिनमें से कई लोगों ने भारतीय तिरंगा थाम रखा था। वह सुरक्षा घेरे में चले, उनमें से कुछ को ‘ऑटोग्राफ’ दिए और कुछ अन्य से हाथ मिलाया।

मोदी ने ‘एक्स’ पर एक अन्य पोस्ट में कहा, “फिलाडेल्फिया में जोरदार स्वागत! हमारे प्रवासी समुदाय के आशीर्वाद को हम बहुत संजोकर रखते हैं।”

प्रधानमंत्री ने कहा, “भारतीय समुदाय ने अमेरिका में अपनी अलग पहचान बनाई है और विभिन्न क्षेत्रों में सकारात्मक प्रभाव डाला है। उनके साथ बातचीत करना हमेशा खुशी की बात होती है। आइये उन बंधनों का जश्न मनाएं जो हमारे देशों को जोड़ते हैं!”

विलमिंगटन से मोदी न्यूयॉर्क जाएंगे जहां वह 22 सितंबर को लॉन्ग आइलैंड में भारतीय समुदाय के एक कार्यक्रम में भाग लेंगे। इसके अगले दिन उनका संयुक्त राष्ट्र महासभा के एक सम्मेलन में हिस्सा लेने का कार्यक्रम है।

प्रधानमंत्री के अन्य कार्यक्रमों में लॉन्ग आइलैंड में भारतीय प्रवासी समुदाय के एक कार्यक्रम में शामिल होना तथा कृत्रिम बुद्धिमता, क्वांटम कंप्यूटिंग और सेमीकंडक्टर जैसी अत्याधुनिक प्रौद्योगिकियों पर काम कर रही अमेरिकी कंपनियों के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों के साथ एक गोलमेज बैठक में भाग लेना शामिल है।

भाषा नोमान रंजन

रंजन



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