ढाका, 28 फरवरी (भाषा) बांग्लादेश की तत्कालीन प्रधानमंत्री शेख हसीना के खिलाफ प्रदर्शन का नेतृत्व करने वाले छात्र समूह ने शुक्रवार को एक राजनीतिक दल के गठन की घोषणा करते हुए कहा कि अब देश में भारत और पाकिस्तान समर्थक राजनीति के लिए कोई जगह नहीं होगी।
भेदभाव के खिलाफ छात्र (एसएडी) ने ढाका के माणिक मिया एवेन्यू में एक रैली आयोजित की और ‘जातीय नागरिक पार्टी’ या राष्ट्रीय नागरिक पार्टी (एनसीपी) गठित करने का फैसला किया। इसके संयोजक जुलाई-अगस्त विद्रोह के प्रमुख नेताओं में से एक नाहिद इस्लाम हैं।
छात्र नेताओं ने इस कार्यक्रम में एक घोषणापत्र भी जारी किया, जिसमें कुछ राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों तथा वेटिकन और पाकिस्तान के राजनयिकों ने भी हिस्सा लिया।
छात्र आंदोलन के कारण पिछले वर्ष पांच अगस्त को हसीना के 15 वर्षों से अधिक के शासन का अंत हुआ था। इस घटनाक्रम के तीन दिन बाद, मुहम्मद यूनुस ने अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार के रूप में कार्यभार संभाला, जो प्रभावी रूप से प्रधानमंत्री हैं।
एनसीपी की पहली रैली कुरान, भगवद् गीता, बाइबिल और त्रिपिटक के पाठ के साथ शुरू हुई, जिसके बाद राष्ट्रगान हुआ। जुलाई विद्रोह के दौरान मारे गए लोगों की याद में एक मिनट का मौन भी रखा गया।
एनसीपी के संयोजक नाहिद इस्लाम ने कहा, ‘‘बांग्लादेश में भारत समर्थक और पाकिस्तान समर्थक राजनीति के लिए कोई जगह नहीं होगी। हम बांग्लादेश और बांग्लादेश के लोगों के हितों को ध्यान में रखते हुए राज्य का निर्माण करेंगे।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हम भविष्य के बारे में बात करना चाहते हैं। हम अतीत से आगे बढ़कर बांग्लादेश की संभावनाओं पर चर्चा करना चाहते हैं।’’
एसएडी समन्वयक नुसरत तबस्सुम ने इस्लाम का समर्थन करते हुए कहा कि पार्टी ‘‘पूरी तरह बांग्लादेश-उन्मुख होगी और देश की प्रगति के लिए समर्पित होगी।’’
एसएडी के सदस्य सचिव आरिफ सोहेल ने कहा, ‘‘लोग अब कुलीन समूहों या वंशवादी वफादारी को स्वीकार नहीं करेंगे। इसके बजाय, भविष्य के नेता मजदूर वर्ग से उभरेंगे जो किसान, मज़दूर और दिहाड़ी मजदूरों के बच्चे होंगे।’’
एनसीपी के अधिकतर शीर्ष नेताओं ने सरकारी नौकरियों के लिए कोटा प्रणाली में सुधार की खातिर 2018 के आंदोलन के दौरान और बाद में 2019 के ढाका विश्वविद्यालय केंद्रीय छात्र संघ (डीयूसीएसयू) चुनावों के दौरान बांग्लादेश छात्र अधिकार परिषद के बैनर तले अपना राजनीतिक सफर शुरू किया।
नयी पार्टी की शुरुआत यूनुस के समर्थन से की जा रही है, जिन्होंने अगस्त 2024 में मुख्य सलाहकार का पद संभाला था। हालांकि समारोह में न तो यूनुस और न ही उनके सलाहकार परिषद का कोई प्रतिनिधि शामिल हुआ।
भाषा धीरज अविनाश
अविनाश