वेटिकन सिटी, एक सितंबर (एपी) पोप फ्रांसिस दो से 13 सितंबर तक इंडोनेशिया, पापुआ न्यू गिनी, ईस्ट तिमोर और सिंगापुर की यात्रा करेंगे।
चार देशों की उनकी यह यात्रा मूल रूप से 2020 के लिए निर्धारित थी, लेकिन कोविड-19 के कारण इसे स्थगित कर दिया गया था।
मुस्लिम आबादी वाले, दुनिया के सबसे बड़े देश इंडोनेशिया में फ्रांसिस के ईसाई-मुस्लिम संबंधों को बेहतर बनाने पर जोर देने की संभावना है।
पापुआ न्यू गिनी में, फ्रांसिस पर्यावरणीय खतरों के साथ ही वहां के अनुमानित एक करोड़ लोगों की विविधता की ओर भी इशारा करेंगे, जो लगभग 800 भाषाएं बोलते हैं, लेकिन जनजातीय संघर्षों से प्रभावित हैं।
फ्रांसिस की सिंगापुर यात्रा उन्हें चीन तक पहुंचने का एक और अवसर प्रदान करेगी, क्योंकि वेटिकन चीन के अनुमानित 1.2 करोड़ कैथोलिकों के हित में बेहतर संबंध चाहता है। सिंगापुर में तीन-चौथाई आबादी चीनी मूल की है।
ईस्ट तिमोर 2002 में एक स्वतंत्र देश के रूप में सामने आया, लेकिन अभी भी उस कब्जे के आघात और जख्मों को झेल रहा है, जिसके कारण 2,00,000 से अधिक लोग मारे गए थे।
तत्कालीन पोप जॉन पॉल ने 1989 में ईस्ट तिमोर का दौरा किया, तो उन्होंने वहां की कैथोलिक बहुल आबादी को सांत्वना देने का प्रयास किया, जो पहले से ही 15 वर्षों से इंडोनेशिया के कब्जे के कारण कष्ट झेल रही थी।
एपी आशीष सुरेश
सुरेश