नागपुर, 24 मार्च (भाषा) नागपुर हिंसा के मुख्य आरोपी फहीम खान के दो मंजिला मकान को अनधिकृत निर्माण के कारण नगर निकाय के प्राधिकारियों ने भारी पुलिस सुरक्षा के बीच सोमवार सुबह ध्वस्त कर दिया।
‘माइनॉरिटी डेमोक्रेटिक पार्टी’ (एमडीपी) के नेता खान पर राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया है। वह 17 मार्च को महाराष्ट्र के नागपुर शहर में हुई हिंसा के लिए गिरफ्तार किए गए 100 से अधिक लोगों में शामिल हैं।
सूत्रों ने बताया कि नागपुर नगर निगम ने खान को कुछ दिन पहले एक नोटिस जारी किया था जिसमें (उनके मकान के लिए) भवन योजना की मंजूरी न होने एवं कई चूक का जिक्र किया गया था।
यहां यशोधरा नगर क्षेत्र के संजय बाग कॉलोनी में स्थित मकान को सोमवार को सुबह करीब साढ़े 10 बजे नागपुर नगर निगम की तीन जेसीबी मशीन की मदद से ध्वस्त करना शुरू किया गया। इस दौरान कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई और पूरे इलाके की ड्रोन से निगरानी की गई।
जिस क्षेत्र में तोड़फोड़ की जा रही थी, वहां अवरोधक लगाए गए हैं।
नगर निकाय के एक सूत्र ने बताया कि खान की मां के नाम पर पंजीकृत यह मकान ‘नागपुर सुधार न्यास’ (पट्टा) के एक भूखंड पर स्थित था और पट्टे की अवधि 2020 में समाप्त हो गई थी।
सूत्र ने बताया कि इमारत के लिए कोई मंजूरी योजना स्वीकृत नहीं थी और पूरा निर्माण अनधिकृत था। उन्होंने कहा कि यह कार्रवाई एमआरटीपी (एकाधिकार और प्रतिबंधात्मक व्यापार व्यवहार अधिनियम) अधिनियम के तहत की जा रही है।
सूत्र ने बताया कि कार्रवाई से 24 घंटे पहले इमारत को गिराने का नोटिस दिया गया था।
खान फिलहाल जेल में बंद हैं।
छत्रपति संभाजीनगर जिले में स्थित मुगल बादशाह औरंगजेब की कब्र को हटाने की मांग को लेकर विश्व हिंदू परिषद (विहिप) और बजरंग दल के नेतृत्व में हुए प्रदर्शन के दौरान पवित्र आयत लिखी चादर जलाए जाने की अफवाहों के बीच हिंसक भीड़ ने 17 मार्च को नागपुर के कई इलाकों में पथराव और आगजनी की घटनाओं को अंजाम दिया था।
नागपुर हिंसा के दौरान पुलिस उपायुक्त (डीसीपी) स्तर के तीन अधिकारियों सहित 33 पुलिसकर्मी घायल हो गए थे।
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शनिवार को कहा था कि हिंसा के दौरान क्षतिग्रस्त हुई संपत्तियों की कीमत दंगाइयों से वसूली जाएगी और भुगतान न करने पर नुकसान की भरपाई के लिए उनकी संपत्तियों को जब्त कर बेच दिया जाएगा।
गृह मंत्रालय का भी प्रभार संभाल रहे फडणवीस ने कहा, ‘मेरी सरकार तब तक चैन से नहीं बैठेगी, जब तक पुलिस पर हमला करने वालों को पकड़कर उनके साथ सख्ती नहीं की जाती।’
मुख्यमंत्री ने कहा था कि भड़काऊ सामग्री प्रसारित करने वालों पर हिंसा भड़काने में उनकी भूमिका के लिए सह-आरोपी के रूप में आरोप लगाए जाएंगे।
फडणवीस ने यह भी कहा कि दंगों के विदेश या बांग्लादेश से संबंधी होने पर टिप्पणी करना जल्दबाजी होगी क्योंकि जांच चल रही है।
उन्होंने राजद्रोह के आरोप में गिरफ्तार फहीम खान का नाम लिए बिना कहा, ‘हालांकि, मालेगांव से संबंध (हिंसा में) देखा जा सकता है क्योंकि आरोपियों में से एक मालेगांव के एक राजनीतिक दल से संबंधित है, जिसे दंगाइयों की मदद करते देखा जा सकता है।’
भाषा
सिम्मी मनीषा
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