दिल्ली में गांधी परिवार से मिलकर सुलतानपुर के मोची रामचेत गदगद

Ankit
5 Min Read


सुलतानपुर (उप्र), 19 फरवरी (भाषा) उत्तर प्रदेश के सुलतानपुर जिले के रहने वाले चर्चित मोची रामचेत दिल्ली में गांधी परिवार से भेंट करके बहुत खुश हैं।


पेशे से मोची रामचेत ने सुलतानपुर लौटने के बाद बताया,‘‘मैं राहुल गांधी से मिलने के लिए चार महीने से समय मांग रहा था। उन्होंने मिलने के लिए मुझे 13 फरवरी का समय दिया। मैं कुछ लोगों के साथ 12 फरवरी को सुलतानपुर से दिल्ली के लिए रवाना हुआ। राहुल जी ने हम सभी लोगों के ठहरने और खाने आदि की व्यवस्था होटल में कर रखी थी।’’

उन्होंने बताया, ‘‘ मैं जिस होटल में ठहरा था वहां 13 फरवरी को उनके द्वारा गाड़ी भेजी गई। उस गाड़ी से मैं उनके आवास पर पहुंचा, राहुल गांधी जी ने मुझे गले लगाकर स्वागत किया इस मौके पर प्रियंका गांधी वाद्रा जी भी मौजूद थीं। थोड़ी देर बाद सोनिया गांधी जी भी कमरे में आयीं।

रामचेत ने बताया कि लगभग एक घंटे से अधिक समय तक उन्होंने उनके व्यवसाय के बारे में पूछताछ की। रामचेत ने राहुल गांधी, प्रियंका गांधी वाद्रा और सोनिया गांधी जी के लिए बनाए गए चप्पल की दो-दो जोड़ी भेंटकर उनका आशीर्वाद प्राप्त किया।

रामचेत के साथ और कौन-कौन लोग थे? इस सवाल पर रामचेत ने बताया कि उनके साथ उनका बेटा, नाती व उनके बेटी-दामाद मौजूद रहे।

रामचेत ने कहा,‘‘राहुल जी ने मेरे बेटे से कहा कि तुम्हें और आगे तरक्की करनी है। उन्होंने मेरे बेटे से कहा कि वह चाहते हैं कि उसे दिल्ली में अच्छे जूते व चप्पल बनाने का प्रशिक्षण दिलवा दें ताकि वह दिल्ली जैसे स्थान पर जूतों व चप्पलों का उत्पादन करके उन्हें विदेशों में भेज सके।”

रामचेत ने बताया कि राहुल गांधी से उनकी पहली मुलाकात 26 जुलाई 2024 को हुई थी। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी की ओर से मुहैया कराई गई मशीन से वह अब चप्पल बना रहे हैं।

रामचेत ने खुशी जताई कि अब उनकी दो दुकानें हो गई हैं। राहुल गांधी ने मोची समुदाय के हुनर की सराहना करते हुए कहा कि उनमें बहुत ज्ञान है, लेकिन समाज में उस ज्ञान को पर्याप्त सम्मान नहीं मिल रहा है।

इसके बाद प्रियंका गांधी वाद्रा ने कहा सबसे ज्यादा महंगे जो जूते होते हैं वो हाथ से बने होते हैं।

रामचेत के मुताबिक, राहुल ने कहा, ‘‘आपका के हुनर में थोड़ा और निखार लाना होगा। मैं आपके साथ हूं।’’ रामचेत ने कहा कि राहुल गांधी ने उनके समेत सभी लोगों का 15 फरवरी को ट्रेन का टिकट कराकर सुल्तानपुर वापस भेजा।

राहुल गांधी ने मशीन के उपयोग, उच्च गुणवत्ता के जूते बनाने की प्रक्रिया और बिक्री के तरीकों के बारे में भी चर्चा की। यह मुलाकात मोची समुदाय के उत्थान और पारंपरिक कौशल को आधुनिक तकनीक से जोड़ने के प्रयास का एक उदाहरण बन गई।

ज्ञात हो कि सुलतानपुर के सांसद/विधायक (एमपी/एमएलए) अदालत में राहुल गांधी द्वारा अमित शाह के खिलाफ चुनाव के दौरान कथित तौर पर की गई आपत्तिजनक टिप्पणी के मामले में भाजपा नेता विजय मिश्र द्वारा मानहानि का एक मुकदमा वर्ष 2018 दर्ज कराया गया था।

इस मुकदमे के सिलसिले में 20 फरवरी, 2024 को राहुल अदालत में उपस्थित हुए थे और उन्हें 25-25 हजार के दो मुचलके पर जमानत मिली थी।

राहुल गांधी 26 जुलाई, 2024 को बयान दर्ज कराने के बाद पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे से होकर लखनऊ जाते समय कूरेभार थाना क्षेत्र के विधायक चौराहे के पास गुमटी में जूते की सिलाई कर रहे मोची रामचेत की दुकान पर एकाएक रुक गए थे और रामचेत से जूता की सिलाई के बारे में जानकारी ली और स्वयं जूते की सिलाई भी सीखी।

कुछ देर यहां रुकने के बाद राहुल गांधी लखनऊ के लिए रवाना हो गए थे। कुछ दिन बाद रामचेत के यहां राहुल गांधी ने एक आधुनिक सिलाई मशीन व जूते-चप्पल बनाने की सामग्री भेजी थी। इस उपहार को पाकर मोची रामचेत राहुल गांधी के काफी करीब आ गया।

राहुल गांधी ने जिस जूते की सिलाई की थी उसे रामचेत से खरीदने के लिए कांग्रेस के कई नेताओं ने लाखों रुपये का प्रस्ताव दिया, लेकिन रामचेत ने उस जूते को बेचने से इनकार कर दिया था।

भाषा सं जफर सिम्मी संतोष

संतोष



Share This Article
Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *