(तस्वीरों के साथ)
लखनऊ, 12 सितंबर (भाषा) समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार पर पुलिस मुठभेड़ों की आड़ में जानबूझकर ‘हत्याओं’ की साजिश रचने का आरोप लगाते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि उत्तर प्रदेश ‘फर्जी मुठभेड़ों’ की राजधानी बन गया है।
यादव के इन आरोपों का उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) प्रशांत कुमार और जेल मंत्री दारा सिंह चौहान ने खंडन किया।
सपा प्रमुख ने लखनऊ में पार्टी कार्यकर्ताओं और समर्थकों को संबोधित करते हुए दावा किया कि सुल्तानपुर के मंगेश यादव सहित अपराध के संदिग्ध व्यक्तियों के साथ हाल ही में हुई पुलिस मुठभेड़ें दरअसल पीडीए (पिछड़े, दलित और अल्पसंख्यक) के सदस्यों को निशाना बनाकर की गई पुलिस कार्रवाई के व्यापक पैटर्न का हिस्सा थीं।
यादव ने कहा, ‘‘अन्याय की सारी हदें पार कर दी गई हैं।’’
उन्होंने इन मुठभेड़ों की वैधता पर सवाल उठाते हुए कहा, ‘क्या आज के समय में कोई कल्पना कर सकता है कि किसी व्यक्ति का मुंह बंद कर दिया जाएगा, उसे बांध दिया जाएगा और पीट-पीटकर मार दिया जाएगा?’
पूर्व मुख्यमंत्री ने सुबूतों में विसंगतियों का हवाला देते हुए कहा कि मुठभेड़ की कहानी गढ़ी गई है। उन्होंने कहा, ‘यह जगजाहिर है कि उत्तर प्रदेश में भाजपा सरकार के तहत फर्जी मुठभेड़ें हुई हैं। मंगेश यादव की हत्या गांव और आसपास के इलाकों में लोगों के बीच जगजाहिर थी। पुलिस रात में आई थी और उसे उसके सामान के साथ ले गई थी।’
मामले से निपटने के सरकार के तरीके की आलोचना करते हुए यादव ने भाजपा पर उत्तर प्रदेश को ‘फर्जी मुठभेड़ों की राजधानी’ बनाने का आरोप लगाया।
उत्तर प्रदेश के डीजीपी प्रशांत कुमार ने पूर्व मुख्यमंत्री के इन आरोपों और दावों को सिरे से खारिज कर दिया।
कुमार ने लखनऊ में संवाददाताओं से कहा, ‘मैं ऐसे आरोपों का पूरी तरह खंडन करता हूं। किसी अपराधी की जाति या समुदाय को ध्यान में रखकर कोई कार्रवाई नहीं की जाती। अगर यह पाया जाता है कि किसी ने निजी लाभ के लिए कार्रवाई की है तो उसकी जांच और उस पर कार्रवाई की पर्याप्त व्यवस्था है।’
उन्होंने कहा कि पुलिस ने सुबूतों की गहन जांच के बाद ही कार्रवाई की है। सारी कार्रवाई निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से की गई।
कुमार ने कहा, ‘यूपी पुलिस मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अपराध के प्रति जीरो टॉलरेंस नीति को लागू करने के लिए कड़ी मेहनत कर रही है।’
इस बीच, राज्य के कारागार मंत्री दारा सिंह चौहान ने यादव की टिप्पणी की निंदा करते हुए इसे ‘दुर्भाग्यपूर्ण’ बताया।
चौहान ने कहा कि राज्य सरकार ने अपराधियों को न्याय के कठघरे में लाने का काम प्रभावी ढंग से किया है और पुलिस कार्रवाई की सभी सराहना कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, ‘पुलिस ने एक ऐसे अपराधी को मार गिराया है, जिसके सिर पर लाखों का इनाम था। मैं अखिलेश यादव के बयान और उनके द्वारा की गई जातिवादी राजनीति की निंदा करता हूं। विकास और कानून के मामले में उत्तर प्रदेश पूरे देश में एक आदर्श बन गया है।’
भाषा सलीम धीरज
धीरज