जनता की सुरक्षा से ज़्यादा ‘वीआईपी’ लोगों को प्राथमिकता दी गई: अजय राय |

Ankit
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वाराणसी, 27 फरवरी (भाषा) कांग्रेस की उत्तर प्रदेश इकाई के अध्यक्ष अजय राय ने बृहस्पतिवार को महाकुंभ में कथित कुप्रबंधन को लेकर योगी आदित्यनाथ सरकार की आलोचना की ।


उन्होंने आरोप लगाया कि जनता की सुरक्षा से ज़्यादा अति विशिष्ट लोगों को प्राथमिकता दी जा रही है।

यहां लहुराबीर स्थित अपने आवास पर पत्रकारों से बातचीत में राय ने कहा, ‘कुंभ में भगदड़ दिल दहला देने वाली थी, लेकिन यह सरकार की वीआईपी संस्कृति का नतीजा थी। पूरा प्रशासन अति विशिष्ट लोगों की सुविधा में व्यस्त था, जबकि आम श्रद्धालुओं को अपने हाल पर छोड़ दिया गया। भीड़ का उचित प्रबंधन नहीं किया गया और इस लापरवाही के कारण आपदा आई।’

उधर राज्य सरकार और कई मंत्रियों ने बुधवार को संपन्न हुए कुंभ में कुप्रबंधन के आरोपों का कई मौकों पर खंडन किया है। राज्य सरकार ने पलटवर करते हुए कांग्रेस और समाजवादी पार्टी सहित विपक्षी दलों पर निशाना साधा और उन पर अपनी टिप्पणियों से सनातन धर्म का अपमान करने का आरोप लगाया।

उन्होंने कहा, ‘‘हजारों लोग अपने प्रियजनों के लिए शोक मना रहे थे, और फिर भी योगी आदित्यनाथ हेलीकॉप्टर से फूल बरसाने में व्यस्त थे। अगर यह असंवेदनशीलता नहीं है, तो क्या है?’’

राय ने कहा कि कुंभ में ड्यूटी के दौरान मारे गए गाजीपुर के इंस्पेक्टर अंजनी कुमार राय को सम्मानित किया जाना चाहिए।

उन्होंने कहा,‘‘अगर सरकार कुंभ का प्रबंधन करने वालों को सम्मानित कर रही है, तो सेवा में अपना जीवन देने वाले इंस्पेक्टर को क्यों नहीं? उनका बलिदान सम्मान का हकदार है।’’ राज्य के अधिकारियों ने पहले कहा था कि राय उस वक्त कुंभ ड्यूटी पर नहीं थे।

राय ने महाशिवरात्रि शिव बारात जुलूस के आरंभिक स्थगन पर भी नाराजगी जताई और इसे धार्मिक परंपराओं पर हमला बताया। उन्होंने कहा, ‘‘वाराणसी बाबा विश्वनाथ की नगरी है और सदियों से शिव बारात एक पवित्र परंपरा रही है। प्रशासन को इसे बदलने का अधिकार किसने दिया? जनता के व्यापक आक्रोश के बाद ही उन्हें मूल तिथि को बहाल करने के लिए मजबूर होना पड़ा।’’

भाषा सं जफर शोभना

शोभना



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