गिरफ्तारी वारंट जारी करने की अंतरराष्ट्रीय न्यायालय की शक्ति पर कानूनी दलीलें दायर

Ankit
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द हेग, नौ अगस्त (एपी) दर्जनों देशों, शिक्षाविदों और अधिकार समूहों ने गाजा में युद्ध और इजराइल में हमास द्वारा सात अक्टूबर को किए गए हमलों की जांच में गिरफ्तारी वारंट जारी करने की अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय की शक्ति को या तो खारिज करते हुए या समर्थन करते हुए कानूनी दलीलें दायर की हैं।


इस सप्ताह दायर की गई दलीलें तब आई हैं जब न्यायाधीशों का एक पैनल अदालत के मुख्य अभियोजक द्वारा इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू, रक्षा मंत्री योव गैलेंट और हाल ही में पदोन्नत हुए हमास के नेताओं के खिलाफ वारंट के अनुरोध पर विचार कर रहा है।

अदालत के अभियोजक करीम खान ने मई में नेतन्याहू, गैलेंट और तीन हमास नेताओं- याह्या सिनवार, मोहम्मद देइफ और इस्माइल हनिया पर युद्ध अपराधों और गाजा पट्टी तथा इज़राइल में मानवता के खिलाफ अपराधों का आरोप लगाते हुए वारंट की मांग की थी।

हनिया और देइफ़ दोनों मारे जा चुके हैं। सात अक्टूबर के हमलों की साजिश रचने वाले हमास के शीर्ष अधिकारी सिनवार को बाद में समूह का नया नेता नामित किया गया था।

इज़राइल ने अपने नेताओं के लिए वारंट के अदालत के अनुरोध को दृढ़ता से खारिज किया है और जोर देकर कहा है कि वह हमास के हमलों के कारण गाजा में हुए विनाशकारी संघर्ष में अंतरराष्ट्रीय कानून का पालन करता है।

नेतन्याहू ने वारंट के अनुरोध को ‘‘वास्तविकता के पूरी तरह विपरीत’’ करार दिया।

कई लिखित दलीलों के कारण न्यायाधीशों के एक पैनल द्वारा वारंट जारी करने के फैसले में देरी होने की संभावना है।

एपी नेत्रपाल पवनेश

पवनेश



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