नयी दिल्ली, 27 मार्च (भाषा) जिंदल स्टील एंड पावर लि. (जेएसपीएल) के चेयरमैन नवीन जिंदल ने कोयला मंत्रालय से राज्यों में सक्रिय निगरानी तंत्र स्थापित करने को कहा है, ताकि खदानों के परिचालन में कोई देरी न हो।
जिंदल ने कोयला खदान नीलामी के 12वें चरण की शुरुआत के मौके पर कहा, ‘‘राज्य सरकारों को इन कोयला ब्लॉक से भारी मात्रा में रॉयल्टी प्रीमियम मिल रहा है। लेकिन फिर भी, जिन राज्यों में हम काम करते हैं, वहां के कुछ अधिकारियों का रवैया अब भी ऐसा है जैसे वे आप पर बहुत बड़ा उपकार कर रहे हैं…हमारी कई खदानें, हमें एक साल पहले ही शुरू कर देनी चाहिए थीं। लेकिन हर जगह वे आपको रोक देते हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हमें मंत्रालय (कोयला) से पूरा सहयोग मिलता है। लेकिन राज्यों में निगरानी की जरूरत है, ताकि वे भी चीजों को तेजी से करने के लिए दबाव महसूस करें।’’
जिंदल ने कहा, ‘‘हम पहले से ही 2.1 करोड़ टन उत्पादन कर रहे हैं, अगले साल का मतलब है तेजी से बढ़ने वाला साल। हमें तीन करोड़ टन उत्पादन की उम्मीद है। 2030 तक हम आपके सहयोग से पांच करोड़ टन का उत्पादन करेंगे।’’
कोयला और खान मंत्री जी किशन रेड्डी ने कहा कि उनका मंत्रालय खदान परिचालकों को सहज अनुभव के लिए अनुमोदन और अनुमति को सरल बनाने के लिए राज्य सरकारों के साथ काम कर रहा है।
उन्होंने कहा कि खदानों का समय पर परिचालन में आना भी उतना ही महत्वपूर्ण है।
मंत्री ने कहा, ‘‘मैं सभी सार्वजनिक और निजी क्षेत्र की कंपनियों से तेजी से खनन कार्यों पर ध्यान केंद्रित करने का आग्रह करता हूं।’’
भाषा अजय अजय रमण
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