मुंबई, दो फरवरी (भाषा) इंग्लैंड के खिलाफ पांचवें टी20 अंतरराष्ट्रीय में रिकॉर्ड तोड़ शतकीय पारी खेलने वाले सलामी बल्लेबाज अभिषेक शर्मा ने रविवार को यहां कहा कि भारतीय कोच और कप्तान उनसे ऐसे रवैये के साथ बल्लेबाजी की उम्मीद करते हैं।
‘प्लेयर ऑफ द मैच’ अभिषेक की 54 गेंद में 135 रन की पारी के दम पर भारत ने नौ विकेट पर 247 रन बनाने के बाद इंग्लैंड को 10.3 ओवर में महज 97 रन पर आउट कर 150 रन की बड़ी जीत दर्ज की।
भारत के लिए इस प्रारूप में सबसे बड़ी व्यक्तिगत पारी खेलने के बाद अभिषेक ने पुरस्कार समारोह में कहा, ‘‘आज मेरा दिन था तो मैंने पहली ही गेंद थे आक्रमण शुरू कर दिया था। मैं कोच और कप्तान का आभार जताना चाहूंगा कि उन्होंने मेरे खेलने के तरीका का समर्थन किया। ’’
इस 24 साल के वामहस्त बल्लेबाज ने कहा, ‘‘वे मुझ से ऐसे ही रवैये की उम्मीद करते हैं। उन्होंने हमेशा मेरा समर्थन किया है।’’
अभिषेक ने इस दौरान अपनी पारी में 13 छक्के जड़े जो भारत के लिए टी20 अंतरराष्ट्रीय की एक पारी में सबसे ज्यादा छक्कों का रिकॉर्ड है।
उन्होंने कहा, ‘‘यह विशेष है, देश के अच्छा प्रदर्शन करने का अहसास हमेशा खास होता है।’’
उन्होंने ने जोफ्रा आर्चर के खिलाफ सहजता से छक्का लगाने के बारे में पूछे जाने पर कहा, ‘‘ जब प्रतिद्वंद्वी टीम के गेंदबाज 140 या 150 (किलोमीटर प्रति घंटे) से अधिक की गेंदबाजी कर रहे हों, तो आपको थोड़ा पहले तैयार रहना होता है। ऐसे में बस गेंद पर प्रतिक्रिया दो और अपना शॉट खेलो। जब आप एक विश्व स्तरीय गेंदबाज (आर्चर) को कवर के ऊपर से मारते है तो यह बहुत अच्छा लगता है। मुझे हालांकि आदिल राशिद के खिलाफ शॉट भी वास्तव में पसंद आए।’’
अभिषेक ने कहा कि उनकी इस पारी से उनके मेंटोर दिग्गज भारतीय बल्लेबाज युवराज सिंह खुश होंगे।
उन्होंने कहा, ‘‘ वह ( युवराज सिंह) शायद आज खुश होंगे। वह हमेशा चाहते थे कि मैं 15वें, 20वें ओवर तक बल्लेबाजी करूं और मैंने ऐसा करने की कोशिश की है।’’
श्रृंखला में 14 विकेट लेकर ‘प्लेयर ऑफ द सीरीज’ चुने गये वरुण चक्रवर्ती इस पुरस्कार को पत्नी, बेटे और माता पिता को समर्पित किया।
उन्होने कहा, ‘‘मैं इस प्रदर्शन से खुश हूं लेकिन संतुष्ट नहीं हूं। मुझे अभी भी लगता है कि सुधार की जरूरत है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मैं यह पुरस्कार अपनी पत्नी, बेटे और माता पिता को समर्पित करता हूं। मैं सूर्या (कप्तान सूर्य कुमार यादव) और जीजी ( कोच गौतम गंभीर) का शुक्रगुजार हूं।’’
भाषा आनन्द नमिता
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