उज्जैन, छह मार्च (भाषा) मध्यप्रदेश के उज्जैन में पुलिस ने अदालत के निर्देश पर हिंदू संत शांति स्वरूपानंद महाराज, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेता और दो अन्य के खिलाफ धोखाधड़ी और विश्वासघात के आरोप में प्राथमिकी दर्ज की है। एक अधिकारी ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।
उज्जैन शहर के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एएसपी) नितेश भार्गव ने बताया कि निरंजनी अखाड़ा (उज्जैन) के महामंडलेश्वर शांति स्वरूपानंद महाराज, भाजपा नेता अशोक प्रजापति, महावीर प्रसाद मानसिंहका और ओमप्रकाश अग्रवाल के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 420 (धोखाधड़ी) और 419 (प्रतिरूपण द्वारा धोखाधड़ी) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
महाकाल थाना प्रभारी नरेंद्र सिंह परिहार ने बताया कि अपनी शिकायत में सोहिल पटेल ने कहा कि उपनियमों के अनुसार परमानंद महाराज उज्जैन के अखंड आश्रम न्यास के आजीवन अध्यक्ष हैं, लेकिन स्वरूपानंद महाराज ने खुद को ट्रस्ट का अध्यक्ष बताया और 2022 में उनके साथ यात्री निवास को तीन लाख रुपये प्रतिमाह किराए पर देने और शुद्ध लाभ में 50 प्रतिशत हिस्सेदारी का समझौता किया।
शांति स्वरूपानंद और प्रजापति समेत आरोपियों से संपर्क करने का प्रयास किया गया लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।
इस बीच, अखिल भारतीय पुजारी महासंघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष महेश पुजारी ने मध्यप्रदेश सरकार को लिखे पत्र में स्वरूपानंद महाराज से महामंडलेश्वर (मुख्य पुजारी) के पद से इस्तीफा देने की मांग की।
उन्होंने अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष से शांति स्वरूपानंद के खिलाफ कार्रवाई करने का भी आग्रह किया क्योंकि दोनों ही निरंजनी अखाड़े से ताल्लुक रखते हैं।
भाषा सं दिमो खारी
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