आंध्र प्रदेश सरकार ने एससी उप-वर्गीकरण पर अध्यादेश जारी कर तीन समूहों में वर्गीकरण किया

Ankit
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अमरावती, 17 अप्रैल (भाषा) आंध्र प्रदेश सरकार ने बृहस्पतिवार को अनुसूचित जातियों (एससी) के उप-वर्गीकरण पर एक अध्यादेश जारी किया, जिसमें राज्य की सरकारी नौकरियों और शिक्षा में उन्हें तीन समूहों में वर्गीकृत किया गया है।


विधि विभाग के एक आदेश में कहा गया, ‘‘आंध्र प्रदेश अनुसूचित जाति (उप-वर्गीकरण) अध्यादेश, 2025 को आंध्र प्रदेश राजपत्र में अंग्रेजी, तेलुगु और उर्दू भाषाओं में 2025 के आंध्र प्रदेश अध्यादेश संख्या-दो के रूप में प्रकाशित किया जाएगा।’’

मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू की अध्यक्षता में आंध्र प्रदेश मंत्रिमंडल ने 15 अप्रैल को अनुसूचित जातियों को कुल 15 प्रतिशत में अलग-अलग प्रतिशत आरक्षण के साथ तीन समूहों में उप-वर्गीकृत करने के अध्यादेश प्रस्ताव को मंजूरी दी थी।

अनुसूचित जातियों के उत्थान के उद्देश्य से 59 जातियों को तीन समूहों में विभाजित किया गया है। राज्य सरकार ने पहले कहा था कि चंदाला, पाकी, रेल्ली, डोम और अन्य जातियों जैसी 12 जातियाँ ग्रुप-एक में हैं, जिन्हें एक प्रतिशत आरक्षण दिया गया है।

ग्रुप-दो में 6.5 प्रतिशत आरक्षण के साथ मादिगा, सिंधोला, मातंगी और अन्य जातियां शामिल हैं, जबकि 7.5 प्रतिशत आरक्षण के साथ ग्रुप-तीन में माला और उसकी उपजातियों के साथ-साथ अधी आंध्र, पंचमा और अन्य जातियां शामिल हैं।

इससे पहले एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया था, ‘‘इस अध्यादेश से आंध्र प्रदेश में सभी अनुसूचित जातियों को शिक्षा और रोजगार में समान न्याय मिलेगा।’’

उच्चतम न्यायालय ने पिछले वर्ष एक निर्णय में राज्यों को आरक्षित श्रेणियों के अंदर कोटा देने के लिए अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों (एसटी) का उप-वर्गीकरण करने की अनुमति दी थी।

भाषा नेत्रपाल सुरेश

सुरेश



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